पाठ-योजना
कक्षा - 6
पाठ्य-पुस्तक - मल्हार
पाठ - 2 गोल
कक्षा - 6
पाठ्य-पुस्तक - मल्हार
पाठ - 2 गोलहैलो दोस्तों, हिंदी की आशा चैनल में आपका स्वागत है।
आज हम पाठ-2 गोल का लेसन प्लान आपसे साझा करने जा रहे हैं।
पाठ का सार -
यह पाठ मेजर ध्यानचंद के जीवन और उनकी खेल भावना पर आधारित है। इसमें उनके द्वारा हॉकी में किए गए उल्लेखनीय प्रदर्शन और खेल के प्रति उनके दृष्टिकोण का वर्णन है। पाठ में खेल भावना, सहनशीलता और टीम वर्क जैसे मूल्यों पर जोर दिया गया है।
शिक्षण उद्देश्य-
1. ज्ञानवर्धन:
* छात्र मेजर ध्यानचंद के जीवन, उनके खेल करियर और उनके अनुभवों के बारे में जानेंगे।
* छात्र पाठ में प्रयुक्त महत्वपूर्ण शब्दों और उनके अर्थों को समझेंगे।
2. सकारात्मक दृष्टिकोण का विकास:
* छात्र खेल में हार-जीत के प्रति सकारात्मक दृष्टिकोण अपनाने की प्रेरणा प्राप्त करेंगे।
* खेल भावना और सहयोग के महत्व को समझेंगे।
3. संचार कौशल में सुधार:
* छात्र समूह चर्चा में सक्रिय भाग लेकर अपने विचार स्पष्ट रूप से व्यक्त करने में सक्षम होंगे।
* छात्र अपने अनुभवों को साझा करने और सुनने में रुचि विकसित करेंगे।
4. विचारशीलता और विश्लेषणात्मक क्षमता:
* छात्र खेल में गुस्से के स्थान पर सकारात्मकता अपनाने के फायदों पर विचार करेंगे।
* छात्र अपने अनुभवों का विश्लेषण कर सकेंगे और उनसे सीखेंगे।
5. लेखन कौशल का विकास:
* छात्र निबंध लेखन के माध्यम से अपने विचारों को संगठित और स्पष्ट रूप में प्रस्तुत कर सकेंगे।
* भाषा और लेखन कौशल में सुधार होगा।
6. मूल्यांकन और नैतिक शिक्षा:
* छात्र अच्छे और बुरे कार्यों के परिणामों के बारे में समझेंगे।
* नैतिक मूल्यों जैसे सहिष्णुता, खेल भावना और मेहनत का महत्व जानेंगे।
अधिगम परिणाम-
1. ज्ञान अधिग्रहण:
* छात्र मेजर ध्यानचंद के जीवन और उनके खेल के अनुभवों के बारे में जानकारी प्राप्त करेंगे।
* छात्र पाठ में आए मुख्य घटनाओं और शब्दों को समझ सकेंगे।
2. विश्लेषणात्मक कौशल:
छात्र खेल में गुस्से और सकारात्मकता के बीच का अंतर समझेंगे।
छात्र अपने अनुभवों का विश्लेषण कर सकेंगे और उन्हें साझा करने में सक्षम होंगे।
3. संवाद कौशल:
* समूह चर्चा में भाग लेकर छात्रों में संवाद करने की क्षमता विकसित होगी।
* छात्र अपने विचारों को स्पष्ट रूप से व्यक्त करने में सक्षम होंगे।
4. लेखन कौशल:
* छात्र निबंध लिखने में अपने विचारों को संरचित रूप में प्रस्तुत कर सकेंगे।
* भाषा और विचारों की स्पष्टता में सुधार होगा।
5. मूल्य और नैतिक शिक्षा:
छात्र खेल भावना, लगन और मेहनत के महत्व को समझेंगे।
बुराई के बदले अच्छे कार्य करने की प्रेरणा मिलेगी।
6. रुचि और उत्साह:
* खेल और खेलकूद के प्रति छात्रों की रुचि बढ़ेगी।
* छात्र खेलों में सकारात्मकता और सहकारिता को महत्व देने के लिए प्रेरित होंगे।
सहायक सामग्री-
* पाठ का मुख्य अंश: "गोल" (मेजर ध्यानचंद के संस्मरण)
* महत्वपूर्ण शब्द और उनके अर्थ।
* खेल भावना और लगन पर चर्चा।
पूर्व ज्ञान-
* गोल वस्तुओं के नाम बताएं। आपके आसपास कौन-सी गोल चीजें हैं?
* गोल गेंद, गोल चाँद, या गोल रोटी के अलावा कोई और गोल वस्तु बताएं।
* आप किन-किन खेलों के बारे में जानते हैं?
* क्या आपने कभी हॉकी खेली है? अपने अनुभव साझा करें।
* आपके अनुसार खेल भावना का क्या मतलब है? यह क्यों महत्वपूर्ण है?
* आप गुस्से में आने की बजाय किसी समस्या का समाधान कैसे कर सकते हैं?
शिक्षण अधिगम नियोजित गतिविधियाँ-
1. पाठ पठन और चर्चा-
* शिक्षक द्वारा पाठ का आदर्श वाचन।
* छात्रों द्वारा पाठ का एकल और सामूहिक।
* पाठ पर आधारित प्रश्नोत्तर और चर्चा।
2. शब्द-युग्म और वाक्य निर्माण-
* पाठ से से शब्द-युग्म चुनना और उनका अर्थ समझना।
* नए शब्द-युग्म बनाना और वाक्यों में प्रयोग करना।
3. रोल प्ले खेल प्रसारण-
छात्रों को समूहों में बाँटकर किसी खेल का आँखों देखा हाल प्रस्तुत करवाना ।
4. डायरी लेखन-
छात्रों को अपने किसी खेल अनुभव के बारे में डायरी लेखन करवाना।
मूल्यांकन/आकलन -
* मौखिक प्रश्नोत्तर
* शब्द-युग्म और वाक्य निर्माण का मूल्यांकन
* रोल प्ले प्रस्तुति का मूल्यांकन
* डायरी लेखन का मूल्यांकन
* पाठ संबंधित प्रश्नों के उत्तर देना।
पुनरावृति-
* मेजर ध्यानचंद ने हॉकी खेलते समय किस घटना का वर्णन किया?
* उन्होंने अपने अनुभव से क्या सीखा जो उन्होंने दूसरों को बताया?
* मेजर ध्यानचंद ने अपने साथियों को गोल करने का श्रेय कैसे दिया?
* क्या आपको लगता है कि मेहनत और लगन से ही सफलता मिलती है? अपने विचार व्यक्त करें।
* पाठ में प्रयुक्त कुछ महत्वपूर्ण शब्दों का अर्थ बताएं (जैसे 'साधना', 'गुस्सा', 'खेल भावना') ।
धन्यवाद,
पढ़ते रहिए, बढ़ते रहिए
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